बीरगंज( नेपाल )।( vor desk )।भारत के पूर्व राष्ट्रपति स्व0 प्रणव मुखर्जी नेपाल के अद्वितीय हितैषी थे।नेपाल में गणतंत्र स्थापना व शांति स्थापना में उनके योगदान व नैतिक समर्थन को भुला नही जा सकता।उक्त बातें नेपाल के पूर्व राष्ट्रपति रामवरण यादव ने कही ।
उन्होंने उक्त बातें बीरगंज( नेपाल ) के सानो पाइला संस्था द्वारा ‘नेपाल को समझना मा प्रणव दा’ विषयक वर्चुअल सम्मेलन सह श्रद्धांजलि सभा को सम्बोधित करते कही।डेन मार्क के पूर्व राजदूत विजय लाल कर्ण के संयोजकत्व में आयोजित इस सम्मेलन में पूर्व प्रधानमंत्री माधव नेपाल व बाबू राम भटराई ,पूर्व उप प्रधानमंत्री उपेंद्र यादव ने भी उन्हें नेपाल व नेपाली का सच्चा हितैषी बताया।जबकि,सम्मेलन को नेपाली कांग्रेस के शीर्ष नेता शेखर कोइराला,प्रदीप गिरी,विमलेंद्र निधि,वरिष्ठ पत्रकार चन्द्र किशोर ,साउथ एशिया फाउंडेशन के राहुल कुमार समेत अन्य वक्ताओं ने
पूर्व राष्ट्रपति को श्र्द्धांजलि अर्पित किया और उनके व्यक्तित्व व कृतित्व को याद किया ।उन्होंने कहा कि 12 सूत्री समझौता के कारण ही नेपाल में लोकतंत्र व शांति स्थापना हुई, जिसमे प्रणव दा का महत्वपूर्ण भूमिका थी।
प्रणव दा के लिए सबों ने एक स्वर मे एक मुख्य बात यह कहीं की प्रणव दा भारत के लिए जितनी चिन्ता करते थे उतनी ही चिन्ता नेपाल और दक्षिण एशिया के लिए भी करते थे, वो कहते थे कि भारत तभी विकसित कहलाएगा जब नेपाल एवं दक्षिण एशिया भी विकसित हो जाए । ऐसी सोच रखने वाले महान विभूति को शत शत नमन, एवं हार्दिक श्रद्धांजलि ।
सम्मेलन में काठमांडू स्थित भारतीय राजदूत विनय मोहन क्वात्रा,प्रणव मुखर्जी की पुत्री शर्मिष्ठा ,सीमा जागरण मंच के प्रदेश अध्यक्ष महेश अग्रवाल आदि समेत अन्य वक्ताओं ने भी सम्बोधन किया।और शिद्दत से याद करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।