रक्सौल।(vor desk)।अनवरत अविरल वर्षा से सीमा क्षेत्र संकट में है।नेपाल के जल ग्रहण क्षेत्रों में भारी वर्षा ने आफत खड़ी कर दी है।नेपाल और बिहार में रेड अलर्ट है।नेपाल ने तटीय क्षेत्र के लोगों को सतर्क रहने को कहा है।नेपाली नदियों का जल स्तर लगातार बढ़ रहा है।बागमती ,नारायणी,कोसी,महानंदा जैसी नदियां खतरे के निशान को पार करने को उतावली है।
इस बार वीरगंज का आदर्श नगर डूब गया है।सरिसवा नदी भी खतरे के निशान को छूते हुए बह रही है।
बिहार के जल संसाधन विभाग ने उच्च सतर्कता बरतने पर जोर दिया है। चेतावनी दी है कि 48घंटे के भीतर अप्रत्याशित जल श्राव प्रवाहित होने की संभावना है।वाल्मीकि नगर स्थित गंडक बराज से शनिवार की रात्रि 12बजे 6लाख क्यूसेक पानी प्रवाहित होने की संभावना है,जो,अब तक के इतिहास का अधिकतम जल श्राव के निकट है।
रक्सौल इस बार खतरे में है।नगर तो वारिश के बाद त्राहि त्राहि कर रहा है।अब डूबने का खतरा कायम हो गया है।पहला खतरा नगर क्षेत्र से जल निकासी का संकट है।दूसरा सरिसवा नदी के उफनाने से आई बाढ़ है।तीसरा नहर के उपलावित होने से हो सकता है।
फिलहाल,डंकन हॉस्पिटल ,पोस्ट ऑफिस, बीआरसी ,सिंचाई विभाग में बारिश का पानी घुस गया है।वहीं,सुंदरपुर सहित निचला एरिया और ग्रामीण क्षेत्र जल प्लावित और प्रभावित होने लगा है।ऐसे में रक्सौल नगर के लोग सहमे हुए दिख रहे हैं।क्योंकि, रक्सौल बाजार का इतिहास है कि वह आज तक नही डूबा,लेकिन,कुप्रबंधन ने इस बार चुनौती खड़ी कर दी है।इस आशंका को सीधे तौर पर खारिज नही किया जा सकता।क्योंकि,मुख्य पथ,बैंक रोड,इंडियन बैंक गली सहित अनेकों एरिया अल्प अवधि बारिश से जल प्लावित होती रही है।जबकि,इस बार निरंतर बारिश ने चुनौती और संकट खड़ा कर रखा है।
इस बीच वीरगंज के मेयर राजेश मान सिंह लगातार मॉनिटरिंग में जुटे हुए हैं।उन्होंने अधिकारियों को हर चुनौती से निपटने के लिए तैयार रहने के लिए निर्देशित किया है।