रक्सौल।(vor desk)।भारत-नेपाल सीमावर्ती क्षेत्र के प्रमुख रेलवे स्टेशन रक्सौल रेलवे स्टेशन आतंकी निशाने पर रहा है और लश्कर ए तोयबा जैसे संगठनों द्वारा कई बार स्टेशन को उड़ाने की धमकी भी मिल चुकी है।इसी बीच उच्चस्तरीय निर्देश पर शनिवार को एंटी टेररिस्ट स्क्वाड ATS के द्वारा मॉकड्रिल किया गया। मॉकड्रिल से यात्रीयो को भी लगा कि कोई बड़ी आतंकवादी रेलवे स्टेशन में घुस आए है। प्लान के तहत तीन आतंकियों ने रेलवे स्टेशन के घुस कई यात्रियों को रेलवे कर्मचारियों को बंधक बनाया हुआ दिखाया गया।
आरपीएफ व जीआरपी के सहयोग से एटीएस की टीम रेलवे स्टेशन को चारों तरफ से घेर लिया। वही इससे पूर्व रेलवे हाई स्कूल में आरपीएफ व जीआरपी के टीम से तीनों आतंकियों की लोकेशन प्राप्त की गई। जिसके बाद आरपीएफ इंस्पेक्टर ऋतुराज कश्यप व जीआरपी प्रभारी श्रीधर मुकुंद ने बताया कि एक आतंकी स्टेशन अधीक्षक के चेम्बर में घुसा हुआ है जहां स्टेशन अधीक्षक को बंदी बनाये हुए है वही दूसरा आतंकी भोजनालय में घुस आठ से दस यात्रियों को बंधक बनाया हआ है। वही तीसरा आतंकी प्रतिक्षालय में घुसा है वहां भी आठ से दस यात्रियों को बंधक बनाया हुआ है। इसके बाद टीम को चार टुकड़ो में बाट कर घेराबंदी कर आतंकियों को हथियार के साथ पकड़ा गया व स्टेशन अधीक्षक सहित यात्रियों को आतंकियों से मुक्त कराया गया।
इस कार्यवाही के बाद यात्रियों को पता चला कि एटीएस का यह मॉकड्रिल है तब जाकर यात्रियों को राहत की सांस मिली। ऐसा लग रहा था मानो सही में आतंकवादी रेलवे स्टेशन में घुस गए है। वही करीब 2 घण्टे एटीएस की मॉकड्रिल चली।
वही आरपीएफ के सहायक कमांडेंट एसके सिसोदिया ने बताया कि भारत नेपाल सीमावर्ती क्षेत्र का महत्वपूर्ण रेलवे स्टेशन में से एक है रक्सौल रेलवे स्टेशन। खुला सीमा होने के चलते सुरक्षा के दृष्टिकोण से एटीएस के द्वारा मॉकड्रिल जरूरी है। ताकि भविष्य में ऐसी कोई घटना अगर होती है तो आतंकियों पर आसानी से कंट्रोल पाया जा सके। मौके पर रेल डीएसपी उमेश कुमार, आरपीएफ इंस्पेक्टर ऋतुराज कश्यप, एटीएस इंस्पेक्टर कुणाल सौरभ, राजू कुमार, उदय कुमार, सुनील कुमार, जीआरपी प्रभारी श्रीधर मुकुंद सहित अन्य सुरक्षा बल मौजूद थे।