कानूनी कार्रवाई कर मानव तस्कर को भेजा गया जेल
रक्सौल ।(vor desk)। रक्सौल वीरगंज मैत्री पुल पर एसएसबी पोस्ट स्थापित होते ही पहला मानव तस्करी का मामला पकड़ में आया है।मानव तस्करी रोधी इकाई क्षेत्रक मुख्यालय एसएसबी और प्रयास जुवेनाइल एड सेंटर पूर्वी चंपारण द्वारा कानूनी कार्रवाई के बाद मानव तस्कर को न्यायिक हिरासत भेज दिया गया है।
मिली जानकारी के मुताबिक,एक 40 वर्षीय शादीशुदा इमरान खान काल्पनिक नाम पर अंकिता सिंह नाम की 17 वर्षीय लड़की को नेपाल ले जाने की कोशिश में था।इसी बीच शक के आधार पर जांच में वह पकड़ा गया।
जब इंस्पेक्टर मनोज कुमार शर्मा ने उससे पूछताछ की तब मे पता चला कि उक्त व्यक्ति विदेश में कुवैत में काम करता है और उसके 5 बच्चें एक बीवी है। एक गरीब नाबालिग लड़की के सम्पर्क मे आया और उसको नेपाल घुमाने के लिए और खूब खर्चा करने का लालच दे कर नेपाल ले जाने की कोशिश कर रहा था।बताते चलें कि मानव तस्करी में लिप्त लोग सबसे पहले पीड़ितों का भरोसा जीतते हैं और इसके लिए वो एक दो वर्ष का समय और पैसा खर्च करते हैं फिर जब अवसर मिलता है लड़कियों को नर्क जैसी जिंदगी में झोंक देते हैं।रेडलाइट एरिया में अधिकतर लड़कियाँ ऐसे ही लोगों के द्वारा फंसा कर लाई जाती हैं।
प्रयास संस्था की जिला समन्वय आरती कुमारी ने जब लड़की की काउंसिलिंग की तो पता चला कि लड़की को कई दिन से बोल रहा था कि नेपाल घूमने चलना लेकिन लड़की ने पहले मना कर दिया था किंतु बाद में लड़की झांसे में आ गयी और नेपाल जाने को तैयार हो गयी। जबकि नाबालिग लड़की के माता पिता लड़की को हर तरफ खोज रहे थे। बाद में जब लड़की के पिता आये तो भाव विभोर हो गए आँखो में आँसू भर कर मानव तस्करी रोधी इकाई एसएसबी और प्रयास संस्था का बहुत बहुत धन्यवाद दिया।
पकड़े गए व्यक्ति और नाबालिग लड़की को हरैया ओपी पुलिस को अग्रिम कार्यवाही के लिए सौंप दिया गया प्रयास संस्था के सामाजिक कार्यकर्ता विजय कुमार शर्मा द्वारा व्यक्ति पर प्राथमिकी दर्ज की गई।
मौके पर मानव तस्करी रोधी इकाई एसएसबी से सब इंस्पेक्टर नेहा सिंह, अनिल शर्मा, अरविंद दिवेदि, पम्मी, प्रियांशु उपस्थित थे और प्रयास जुवेनाइल एड सेंटर पूर्वी चंपारण के समाजिक कार्यकर्ता राज गुप्ता, स्वच्छ संस्था रक्सौल से रंजित कुमार सिंह आदि शामिल थे।
अधिकारियो के मुताबिक, पहले ये एसएसबी पोस्ट कस्टम के पीछे इंडियन आयल के पास ही रहती थी तो सभी ई-रिक्शा, वाहनो, लोगों को की स्क्रीनिंग नहीं हो पाती थी।अब सभी वाहनो, ई रिक्शा, लोगों को एसएसबी पोस्ट के सामने से हो कर गुज़रना पड़ रहा है। इसलिए एसएसबी की निगरानी और अधिक अच्छी हो गयी है।