बीरगंज।(vor desk )।नेपाली प्रशासन जानबूझ कर कोरोना मरीजो के शव की अंत्येष्टि सीमा क्षेत्र में करने पर उतारू बनी हुई है।
मंगलवार को फिर इस तरह की घटना रक्सौल से लगे पर्सा जिला के अलौ क्षेत्र में देखी गई।जहां विरोध के स्वर दिखे।
बताया गया कि तिलावे नदी के तट पर कोरोना संक्रमण की चपेट में आने से मृत लोगों के शवों को दफनाने के मुद्दे पर स्थानीय लोग एकजुट हो कर प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया और शाम को जम कर विरोध प्रदर्शन किया गया ।
सूत्रों ने बताया कि बीरगंज नगर निगम वार्ड नं17 अलौं के निवासियों ने टायर जलाकर तिलावे ब्रिज के पास नदी किनारे शवों को दफनाने का जम कर विरोध किया। स्थानीय लोगों ने नारे लगाकर विरोध जताया है, “तिलावे नदी में किसी भी शव को दफनाने नही दिया जाएगा और कोरोना संक्रमण फैलाने नही दिया जाएगा ।
बताते हैं कि सशस्त्र पुलिस बेस कैंप के पास मुख्य सड़क पर प्रदर्शनकारियों ने मुख्य जिला अधिकारी, जिला आपदा प्रबंधन समिति के समन्वयक, कम्युनिष्ट पार्टी(नेपाल ) के जिला अध्यक्षों, नेपाली कांग्रेस और जनवादी समाजवादी के खिलाफ नारेबाजी की।
स्थानीय लोगों ने कहा कि जेसीबी से शनिवार आधी रात को तिलावे ब्रिज के पास कोरोना के संक्रमण के शिकार लोगों के शवों को दफनाया है। जो गलत है क्योंकि अगर बाढ आती है तो शव बहेगा और वह संक्रमण फैलाएगा।
हालांकि दाह संस्कार के प्रबंधन में कोई समस्या नहीं थी, लेकिन शरीर को दफनाने में समस्याएं थी।जिस कारण यह विरोध प्रदर्शन हुआ।