Tuesday, April 8

अबोध बच्ची को झाड़ियों में फेंक कर कलयुगी मां ने ममता को किया शर्मशार, स्वच्छ रक्सौल संस्था द्वारा रेस्क्यू कर सुरक्षित बालिका गृह मोतिहारी भेजा !

रक्सौल।(vor desk)।कहते हैं, मां ममता की प्रतिमूर्ति होती है। मां अपने बच्चों के जीवन की रक्षा के लिए किसी भी हद तक जा सकती है, लेकिन रक्सौल शहर में एक दिल दहलाने देने वाला मामला सामने आया है। जहां एक कलयुगी मां अपनी बच्ची को रेल लाइन के पास झाड़ियों में असुरक्षित छोड़कर चली गई। इस घटना से मां की ममता शर्मसार हुई है।वहीं, क्षेत्र के लोगों ने इस घटना को अंजाम देने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।

मिली जानकारी के मुताबिक,शुक्रवार की सुबह रक्सौल नगर परिषद क्षेत्र के वार्ड संख्या 1अंतर्गत परेउवा में स्थानीय ग्रामीणों ने रक्सौल रेलवे स्टेशन के गेट संख्या 34 से लगभग 100 मीटर की दूरी पर एक अज्ञात बच्ची को बरामद किया गया,जो करीब पांच माह की बताई गई है।जो लावारिश पड़ी थी और लगातार रो रही थी।कड़ाके की ठंड के बीच (जीवित) बच्ची के मिलने से क्षेत्र में सनसनी फैल गयी।वहीं,इस बारे में सूचना मिलने पर स्वच्छ रक्सौल के अध्यक्ष रणजीत सिंह ने अपनी महिला सहयोगियों, साबरा खातुन और रितिका श्रीवास्तव के साथ मौके पर पहुंचकर बच्ची को रेस्क्यू किया।

रेस्क्यू के तुरंत बाद, चाइल्ड हेल्पलाइन 1098 को सूचना दी गई और बच्ची को हरैया थाना ले जाया गया। उपरांत, रक्सौल रेलवे स्टेशन के चाइल्ड हेल्पलाइन के सहयोग से रक्सौल स्थित अनुमंडल अस्पताल के एंबुलेंस से बच्ची को बालिका गृह मोतिहारी भेजा गया, ताकि उसे सुरक्षित माहौल, स्वास्थ्य सुविधा, और संरक्षण मिल सके। सूचना है कि प्रक्रिया के बाद बच्ची को दतक ग्रहण संस्थान में आवासित किया गया है ।

स्वच्छ रक्सौल के अध्यक्ष रणजीत सिंह ने कहा, “यह हमारा नैतिक और सामाजिक कर्तव्य है कि हम ऐसे बच्चों को सुरक्षित जीवन प्रदान करें। हमारी टीम और सहयोगी संस्थाओं के प्रयास से हम इस बच्ची को एक सुरक्षित भविष्य देने में सफल रहे।”

इस कार्य में सहयोग देने वाले सभी स्थानीय ग्रामीण, चाइल्ड हेल्पलाइन, और पुलिस प्रशासन का स्वच्छ रक्सौल ने आभार व्यक्त किया है। संस्था ने जनता से अपील की है कि किसी भी अज्ञात बच्चा या जरूरतमंद की स्थिति में तत्काल पुलिस या चाइल्ड हेल्पलाइन को सूचित करें।

इस बीच,स्थानीय चिकित्सक डा मुराद आलम ने बच्ची को देखने के बाद कहा कि इसे हाइड्रोसिफालस है(दिमाग़ में पानी भरा हुआ है)।इसे इलाज के लिए अच्छे स्वास्थ्य संस्थान में पटना भेजना होगा।

इधर, इस घटना पर स्थानीय लोगों ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि जिस मां ने भी इस सुंदर सी बच्ची को लावारिश हालत में फेंककर चली गई है उसके अंदर ममता नाम की चीज नही है वह निर्दयी है निर्मोही है धिक्कार है ऐसी मां पर।शुक्र है नवजात पर किसी जानवर की नजर नहीं पड़ा वर्ना नवजात का सुरक्षित बच पाना मुश्किल होता।

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