-भारत-नेपाल मैत्री अमर रहे का गुंजा नारा,दल का फूल माला से हुआ स्वागत-अभिनन्दन
-भारतीय राजदूतावास द्वारा अमृत महोत्सव पर आयोजित हुई है मोटरसाइकिल रैली
रक्सौल।( vor desk)।भारत के अमृत महोत्सव वर्ष के अवसर पर ‘पशुपतिनाथ से काशी विश्वनाथ अमृत महोत्सव मोटरसाइकिल रैली’ का रक्सौल बॉर्डर पर भव्य स्वागत हुआ।इस रैली में शामिल करीब 45 भारतीय व नेपाली युवाओं के जत्थे का यहां फूल माला पहना कर अभिनन्दन किया गया।रैली के मैत्री पुल पर पहुंचते ही ‘ भारत-नेपाल मैत्री अमर रहे’जैसे नारे गुंजित हुए।
गुरुवार की शाम करीब छह बजे रक्सौल-वीरगंज मैत्री पुल पर बीरगंज स्थित भारतीय महावाणिज्य के उप महावाणिज्य दूत तरुण कुमार व सीमा जागरण मंच के प्रदेश अध्यक्ष महेश अग्रवाल समेत रक्सौल के प्रशासनिक अधिकारियों ने अगवानी की।इस मौके पर कस्टम के सुपरिटेंडेंट आरके सिन्हा, ,इमिग्रेशन के डीएसपी एके पंकज,डीटीओ अनुराग कौशल,एएसपी( अभियान ) ओम प्रकाश सिंह, एएसपी चन्द्र प्रकाश,डीसीएलआर राम दुलार राम ,कार्यपालक दण्डाधिकारी सन्तोष कुमार, बीडीओ सन्दीप सौरभ,सीओ विजय कुमार,पीजीआरओ व नप ईओ सतीश कुमार ,इंस्पेक्टर शशिभूषण ठाकुर,हरैया ओपी प्रभारी गौतम कुमार आदि ने दल का स्वागत करते हुए फूल माला पहनाया।सीमा जागरण मंच के प्रदेश अध्यक्ष महेश अग्रवाल समेत धुरुव सर्राफ समेत अधिकारियों ने रैली में शामिल दल को फूल माला व जूस पिलाने के साथ ही शुभकामनाएं देते हुए कहा कि यह रैली दोनो देशों के मैत्री रिश्ते को और मजबूत करेगी।
यह मोटरसाइकिल रैली काठमांडू के विश्व प्रसिद्ध पशुपति नाथ मंदिर परिसर से एक कार्यक्रम के बीच गुरुवार की सुबह शुरू हुई।
पशुपतिनाथ मन्दिर के मूल भट्ट की समुपस्थिति में नेपाल के संस्कृति, पर्यटन तथा नागरिक उड्डयन मन्त्री प्रेम बहादुर आले तथा भारतीय राजदूत विनय मोहन क्वात्रा ने इस रैली का संयुक्त रूप से शुभारम्भ करते हुए हरि झंडी दिखाई। इस दौरान उन्होंने युगों युगों के आपसी सम्बंधों का हवाला देते हुए इस रिश्ते को और मजबूत व मधुर बनने का विश्वास व्यक्त किया।
बता दे कि काठमांडू नेपाल की राजधानी है।वहीं,काशी(बनारस) भारत के पीएम नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र है।देउबा सरकार के निमंत्रण पर वे शीघ्र ही नेपाल जाने वाले हैं।यही नही भगवान भोले के भक्त माने जाने वाले नरेंद्र मोदी पीएम बनने के बाद काठमांडू पहुँचने के बाद पशुपति नाथ मंदिर में पहुंच कर पूजा अर्चना की थी।वैसे, भी दोनो नगरी के बीच ऐतिहासिक, सांस्कृतिक व धार्मिक रिश्ते रहे हैं।नेपाल के पूर्व पीएम स्व0 मातृका प्रसाद व स्व0 गिरजा कोइराला की जन्म स्थली भी बनारस है।
बताया गया कि भारत और नेपाल की जनता के बीच के अटूट और अनन्त संबंध को उजागर करने और पारस्परिक सांस्कृतिक सम्बन्ध को अधिक सुदृढ बनाने का उद्देश्य के उद्देश्य से आयोजित इस रैली के क्रम में दोनो देशों के बीच साझा धार्मिक तथा सांस्कृतिक सम्पदा को जानने का प्रयास भी शामिल है ।इसमे हिन्दू व बौद्ध सर्किट को बढ़ावा देने व ऊक्त संस्कृति से युवाओं को अवगत कराने का उद्देश्य अंतर्निहित है।
यह रैली आजादी के आंदोलन के क्रम में महात्मा गान्धी द्वारा ‘चम्पारण सत्याग्रह’ आरम्भ किए गए स्थल मोतिहारी, भगवान बुद्ध द्वारा दिए गए प्रथम प्रवचन दिए जाने वाला स्थल सारनाथ समेत भारत और नेपाल के धर्मावलम्बी का एक प्रख्यात धार्मिक स्थल गोरखनाथ मठ जैसे धार्मिक,ऐतिहासिक महत्व के विभिन्न ऐतिहासिक स्थल हो कर काशी आवागमन करेगा।
रैली में शामिल दल के सभी सदस्य बुलेट मोटरसाइकिल पर थे।जिस पर तिरंगा व नेपाल के ध्वज के साथ मैत्री व महोत्सव से जुड़े स्लोगन अंकित थे।दल का नेतृत्व भारतीय दूतावास के अधिकारी सत्येंद्र दहीया( अटैची,प्रेस एवं संस्कृति ),एलएस निवास( लाइब्रेरी इंचार्ज ) कर रहे थे।बाकी सदस्य रॉयल एनफील्ड (काठमांडू )व काठमांडू लेजेंड्स बाइक राइडर टीम से जुड़े हैं।जिनकी उम्र 25 से 45 के बीच है।
इन लोगों ने कहा कि हम भारत पहुँचने पर हुए स्वागत से अभिभूत हैं। बताया कि भारत के अमृत महोत्सव पर यह रैली आयोजित है।हमारा उद्देश्य नेपाल व भारत के युवाओं के बीच आपसी रिश्ते में गर्मजोशी व सभ्यता -संस्कृति से अवगत कराते हुए पुरातन व धार्मिक-एतिहासिक महत्व के धरोहरों के संरक्षण पर है।
इससे पहले नेपाल के हेतौडा व वीरगंज में रैली का स्वागत हुआ।
दल का पड़ाव 200 किलोमीटर की यात्रा के बाद मोतिहारी में होना था। प्रति दिन 200 किलो मीटर की यात्रा के बाद 6 दिन में यह दल 1200 किलोमीटर की यात्रा तय कर काशी( वाराणसी )पहुँचेगा।
रैली को रक्सौल पुलिस ने मोतिहारी जाने के क्रम में एस्कॉर्ट करते हुए सुरक्षा दी।दल मोतिहारी में रुकेगा।यह दल 16 नवम्बर को वापसी में सुनौली होते नेपाल जाएगा।
बता दे कि काठमांडू स्थित भारतीय दूतावास व रोयल इनफिल्ड (काठमांडू) के साथ सहकार्य में यह कार्यक्रम आयोजित हुआ है।