Monday, November 25

बिहार में नल -जल परियोजना से टपक रहा ‘अंग्रेजी नेपाली शराब’,रक्सौल पुलिस ने ‘हैरतअंगेज कारोबार’ के उद्भेदन के साथ एक को दबोचा!

रक्सौल।( vor desk )।बिहार में शराबबंदी है।लेकिन,इस शराब बंदी में एक पर एक कीर्तिमान भी बन रहे हैं।इस बार नया वाक्या सामने आया है।बिहार में ग्रामीणों को स्वच्छ पेय जल उपलब्ध कराने के लिए मुख्य मंत्री नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजेक्ट’ नल जल योजना का भंडारण केंद्र’ अब ‘शराब भंडारण केंद्र’ बन गया है।

यह मामला है सीमावर्ती रक्सौल प्रखण्ड के जटियाही का।जहां रक्सौल पुलिस टीम ने छापेमारी कर 13 बोतल विदेशी शराब गोल्डन ओक ( 180एम एल ) व 10 लीटर देशी शराब के साथ एक कारोबारी को हिरासत में लिया है।


इस प्रकरण से शराबबन्दी पर सवाल खड़े होने के साथ ही मुखिया एव पुलिस की कार्यशैली भी सवाल के घेरे में आ गई है ।
गौरतलब है कि बिहार सरकार द्वारा विगत चार सालों से शराब पर प्रतिबंध है ।उसके बाद भी शराब पीने एव पिलाने का दौर टूटने का नाम नही ले रहा है ।पर्व एव चुनाव के समय तो शराब सेवन करने वालो की बहार हो जाती है ,वही पुलिस प्रशासन की बांछे भी खिल जाती है ।
ताजा मामला में मुखिया महोदया ने अपने ही भू भाग को नल जल योजना के लिए दिया है।जिस पर वाटर टावर केंद्र के कमरे में शराब का मयखाना खुल गया । पुलिस ने जब गुप्त सूचना पर छापेमारी की ,तो 13 बोतल विदेशी शराब की बोतल एव 10 लीटर देशी शराब बरामदगी हुई।तब पोल खुला। साथ ही एक ब्यक्ति को अपने हिरासत में भी लिया है ।

पकड़े गए आरोपी की पहचान जटियाही निवासी विवेक कुमार सिंह( 22 वर्ष ) के रूप में की गई है,जिसे पुलिस टीम ने कथित रूप से भागने के क्रम में खदेड़ कर पकड़ा।क्सौल थाना के निरीक्षक सह थानाध्यक्ष शशिभूषण सिंह के मोनिटरिंग में पुलिस अवर निरीक्षक रणधीर सिंह,सहायक अवर निरीक्षक मधुसूदन गुप्ता आदि ने यह छापेमारी की।
पुलिस इस मामले में बोलने से कैमरे से बच रही है जबकि दर्ज प्राथमिकी में यह स्पष्ट रूप से यह लिखा है कि नल जल योजना के बने टंकी संचालन के रूम से उक्त बरामदगी की गई है ।


इस संबंध में मुखिया ने भी स्वीकार किया कि यह नल जल योजना का टावर उनके भू भाग पर है जो अभी चालू नही है ।वे इधर आते भी नही ।टावर के बगल का युवक शराब का कारोबार करता है ।पुलिस कार्यवाही पर उन्हें पूरा विश्वास है ।
यह रक्सौल अनुमण्डल के जोकीयारी पंचायत के जटीयाई वार्ड 9 का मामला है।जहां के ग्रामीणों का कहना है कि इस शराब के धंधे से जीना मुहाल है।

मुखिया परिवार दबंग है। साथ ही बीजेपी से उनका पुराना नाता है। जिससे गाँव वाले तो गांव वाले,पुलिस भी मीडिया के समक्ष सीधे मुहं बोलने से बच रही है ।शराब जब्ती के बाद भी टावर रुम में मयखाने के सबूत मिले हैं। शराब के अवशेष मिल रहे हैं।बजाप्ते दर्जनभर ग्लास,एक कुर्सी ,बैठने के लिए बोरा बिछा हुआ है और टावर के चारो ओर देशी शराब का पाउच बिखरा हुआ है।


मजे की बात यह है कि बिहार में इन दिनों पंचायत चुनाव की तैयारी चल रही है।बिहार में शराब के बिना चुनाव होता नही।ऐसे के क्या गुल खिल रहा है,यह तो पुलिस की जांच के बाद ही सामने आएगा।लेकिन,पकड़े गए कारोबारी का मुहं बन्द रखने की सारी जुगत लगाई गई है।ताकि,सच बाहर न आये।वैसे,पुलिस का कहना है कि पकड़े गए आरोपी के खिलाफ बिहार उत्पाद मद्ध निषेध अधनियम 2018 के तहत कार्रवाई की जा रही है।

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