Monday, November 25

नगर पार्षदों की शिकायत पर बूचड़खाने की जमीन खरीद में घोटाला के आरोप की जांच शुरू, एडीएम ने किया स्थल निरीक्षण!


रक्सौल।( vor desk )।नगर परिषद सभापति उषा देवी व कार्यपालक पदाधिकारी गौतम आनन्द पर बूचड़खाने की जमीन खरीद में लगे घोटाला के आरोप व इस प्रकरण में अनियमितता का मामला जहां तूल पकड़ लिया है।वहीं,जिलाधिकारी कपिल शीर्षत अशोक के निर्देश पर मोतिहारी से पहुंचे एडीएम अनिल कुमार के नेतृत्व में प्रशासनिक अधिकारियो की एक टीम ने उक्त ‘विवादित जमीन’ का स्थलगत निरीक्षण किया गया।
दोपहर पहुंचे एडीएम श्री कुमार एलआरडीसी राम दुलार राम व अंचल अमीन आदि के साथ पहुंच कर जमीन की पैमाइश की।चौहद्दी का मुआयना किया और आस पास के लोगों से जमीन की कीमत आदि के बारे में जानकारी जुटाई।

मौके पर पूर्व उप सभापति काशी नाथ प्रसाद समेत नगर पार्षद उक्त मौके पर दस्तवेज की प्रति व आवश्यक कागजातों के साथ मौजूद थे।जिन्होंने उक्त जमीन की भौगोलिक स्थिति व दर निर्धारण में घोटाले की वस्तु स्थिति से अवगत कराया।

मजे की बात यह रही कि उक्त जमीन तक पहुचने के लिए अधिकारियों व पार्षदों को दूसरे किसी के बाउंड्री पर चढ़ना पड़ा ।बूचड़खाने की जमीन तक जाने में हुई कठिनाई और स्थिति देख एडीएम सकते में रहे और इसे गम्भीरता से लिया।

रास्ता नही होने से बाउंड्री पर चढ़ना पड़ा

एडीएम श्री कुमार ने कहा कि जमीन का अवलोकन किया गया है।मामले की गहन जांच की जाएगी।इसके तहत दस्तावेज,खतियान आदि कागजातों की जांच होगी।
जांच के बाद रिपोर्ट जिलाधिकारी को सौंपी जाएगी।

बताया गया कि एडीएम रक्सौल में पैक्स चुनाव के नोडल भी बनाये गए थे।जिसको ले कर वे यहां पहुंचे थे।इसके बाद वे सीधे बूचड़खाने की जमीन को देखने व जांच करने उक्त स्थल पहुंच गए।जो एनएच यानी मुख्य पथ से लगा है।

बता दे कि करीब आधा दर्जन पार्षदों ने नगर परिषद के सभापति व कार्यपालक पदाधिकारी पर मनमानी करने और अनियमितता बरतने के साथ घोटाला का आरोप लगाया था।इसको ले कर जिलाधिकारी को लिखित शिकायत भी की गई थी।जिस पर एक जांच कमिटी गठित की गई है।जिसके तहत यह जांच शुरू हुई है।

सूचना है कि जिलाधिकारी ने एडीएम अनिल कुमार के नेतृत्व में जांच कमिटी का गठन किया है। जिसमे रक्सौल एलआरडीसी रामदुलार राम और लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी आनंद प्रकाश भी शामिल है।

जांच के दौरान नप के पूर्व उप सभापति काशीनाथ प्रसाद,वार्ड नंबर 10 के पार्षद रवि कुमार,वार्ड नंबर 23 के पार्षद पति सुरेश चौहान , पार्षद घनश्याम प्रसाद ,भाजपा नगर अध्यक्ष सह पार्षद पति कन्हैया प्रसाद आदि उपस्थित थे।

भूमि खरीद में 13 करोड़ का घोटाला व मनमानी का आरोप:

पिछले दिनों पूर्व उप सभापति काशी नाथ प्रसाद के नेतृत्व में नगर पार्षद जयमन्ती देवी के कोइरिटोला आवास पर एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयेजित कर नगर परिषद के सभापति उषा देवी व कार्यपालक पदाधिकारी गौतम आनन्द के खिलाफ मोर्चा खोला और इस घोटाले की कहानी सुनाई।इसमे आरोप किया गया कि नगर परिषद की बोर्ड बैठक लम्बे समय से नही हुई।इसकी कागजी खानापूर्ति कर मनमानी की गई है।उनका आरोप था कि ‘स्टीयरिंग कमिटी’ ने नगर परिषद पर अघोषित कब्जा कर रखा है।उन्होंने यह भी आरोप किया कि हालात ऐसे पैदा कर दिया गया है कि किसी पार्षद का वश नही चल रहा।

प्रेस कॉन्फ्रेंस में पार्षदों ने आरोप किया कि मांस, मछली व चिकेन के दुकानों( शेड ) बनाने के नाम पर यह घोटाला किया जा रहा है। जो निजी भूमी इसके लिए दो दस्तवेज के जरिये हासिल की जा रही है, उसका सरकारी दर पर मूल्यांकन नही कर अधिक मूल्यांकन प्रदर्शित कर करोड़ो रुपए का घोटाला किया गया है।

इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में शामिल रक्सौल के आधे दर्जन पार्षदों के साथ वार्ड नंबर 10 के पार्षद रवि गुप्ता ने अपना पक्ष रखते हुए आरोप लगाया कि नगर परिषद द्वारा गुपचुप तरीके से गत 05 अक्टूबर 20 को 3. 23 डीसमील जमीन का मुल्यांकन 01 करोड़ 13 लाख 5 हजार रुपए में ख़रीदगी के लिए एक एग्रीमेन्ट पेपर बनवाया। दूसरा एग्रीमेंट उसी रोज 32. 28 डीसमील जमीन के लिए मूल्यांकन 12 करोड़ 75 लाख 12 का एग्रीमेन्ट बनवाया गया। उन्होंने बताया कि नबिदिता कुमारी व नीलम सिंह नामक दोनो भूस्वामी के साथ बनवाए गए एग्रीमेंट में भूमि का मूल्यांकन और सरकारी मूल्यांकन में काफी अंतर है, जिससे यह स्पष्ट हो रहा है कि नगर परिषद द्वारा सरकारी राशि का दुरुपयोग कर बड़े पैमाने पर घोटाला किया गया है।दोनो एग्रीमेन्ट की जांच में घोटाला सामने आ जायेगा।

उन्होंने बताया कि खाता सं 107 खेसरा 1622 नेशनल हाइवे में है, जबकि दूसरा जमीन जिसका खाता 24 खेसरा 1627 काफी पीछे तरफ है, जहाँ जाने का कोई रास्ता नही है। जिसका मूल्यांकन भी काफी कम है। जांच से ही वास्तविक मूल्यांकन क्या है और इसमे घोटाला किये गए राशि का अंतर क्या है,यह सामने आएगा।
उन्होंने यह भी आरोप किया कि इसके लिए कार्यपालक पदाधिकारी ने 5 करोड़ 88 लाख 36 हजार 154 रुपये का चेक भी भु स्वामी के पक्ष में जारी कर दिया गया है।

उन्होंने आरोप किया कि नगर परिषद द्वारा 04 फरवरी 21 को बुचड़खाने के सेड के लिए विज्ञापन निकाला गया था। यानी भूमि खरीदारी एग्रीमेन्ट के बाद विज्ञापन निकाला गया। बिना जमीन रजिस्ट्री व भूस्वामी प्रमाण पत्र लिए शेड आवंटन का विज्ञापन आन-फानन में निकाल दिया गया।

उन्होंने यह भी कहा कि पूर्व में कूड़ा संग्रह केंद्र व कचरा से जैविक खाद बनाने के परियोजना संचालन के लिए भी इसी तरह पूर्व में नोनेहाडीह में जमीन ली गई थी।उस जमीन पर अब कोई कार्य नही हुआ।

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