Sunday, September 29

‘रक्सौल- पाटलिपुत्र इंटरसिटी ट्रेन’ को रि स्टोर के लिए आंदोलन की घोषणा ,पूर्वी चंपारण और रेल प्रशासन ‘एलर्ट मोड’ पर!

रक्सौल। (Vor desk)।रक्सौल से पाटलिपुत्र इंटरसिटी एक्सप्रेस को कोरोना काल में बंद कर दिया गया।अप्रैल में इस ट्रेन को मोतिहारी पाटलिपुत्र के नाम से मोतिहारी से चला दिया गया और रक्सौल वासी मुंह ताकते रह गए ।

कई सामाजिक संगठन और राजनीतिक दल ने इसके लिए पहल किया कि रक्सौल से इस ट्रेन को रि स्टोर किया जाए।लेकिन,कोई सुनवाई नही हुई।

इस बीच,रेल मंत्रालय और रेल प्रशासन को ज्ञापन दे कर स्वच्छ रक्सौल के अध्यक्ष रणजीत सिंह ने साफ किया की 14मई तक इंटर सिटी ट्रेन नही चली तो 15मई से आंदोलन होगा।

रणजीत सिंह ने सत्याग्रह एक्सप्रेस को रोकने,रेल ट्रैक पर खड़े हो कर चक्का जाम करने,क्रमिक आंदोलन के तहत धरना प्रदर्शन और आमरण अनशन की चेतावनी दी है।

अब 15मई से आंदोलन शुरू होने की तैयारी है,जिसे टालने के लिए दबाव से ले कर जेल भेजने की धमकी शुरू हो गई है।

खुद इस आशय का खुलासा रणजीत सिंह ने किया है।उन्होंने बताया कि पूर्व मध्य रेलवे हाजीपुर जोनल ऑफिस से ले कर रक्सौल रेल प्रशासन तक रवैया और शैली अच्छी नहीं है।उन्होंने बताया कि आंदोलन रोकने पर जोर दिया जा रहा है, अन्यथा ,  जेल भेजने तक की बात कही जा रही है।उन्होंने अधिकारियों के नाम का खुलासा किए बगैर कहा कि यह आंदोलन रक्सौल का है। हमे इंटरसिटी ट्रेन चाहिए । हम इतना चाहते हैं कि मोतिहारी की जगह यह ट्रेन रक्सौल से चले।पूर्व की तरह मसना डीह, रामगढवा,धर्मीनिया,सुगौली के लोगों को फायदा हो।क्योंकि,इस ट्रेन से लोग कोर्ट,परीक्षा देने,जिला मुख्यालय काम से जाते हैं।उन्होंने कहा कि भले ही जेल भेज दिया जाए,लेकिन,ट्रेन नही चलेगी, तो आंदोलन भी नहीं रुकेगा।

इस बीच,रेल प्रशासन ने एहतियाती तैयारी शुरू कर दी है। रक्सौल प्रशासन ने भी विधि व्यवस्था के मद्देनजर टीम गठित की है।रेल एसपी डॉक्टर कुमार आशीष ने मंडल रेल सुरक्षा आयुक्त को निर्देशित किया है कि 14मई को रेल समपार फाटक संख्या 34 पर रक्सौल की जनता द्वारा आंदोलन,धरना,आमरण अनशन का आह्वान किया जायेगा।इस दौरान संभावित किसी भी अप्रिय घटना घटित होने से इंकार नही किया जा सकता।ऐसे में आदेशित किया जाता है कि विशेष सुरक्षा व्यवस्था,विधि व्यवस्था हेतु बल प्रतिनियुक्ति के साथ सभी आवश्यक सुरक्षामुलक करवाईं करना सुनिश्चित किया जाए।

इधर,पूर्वी चंपारण जिलाधिकारी सौरभ जोरवाल ने  रक्सौल के अनुमंडल पदाधिकारी रवी कांत सिन्हा और डीएसपी धीरेंद्र कुमार को 14मई को आयोजित धरना,आमरण अनशन ,आंदोलन को देखते हुए विधि व्यवस्था के संधारण के लिए निर्देशित किया है।साथ ही कार्यक्रम स्थल पर विशेष सुरक्षा व्यवस्था के लिए निर्देश जारी किया है।जिसके मद्देनजर रक्सौल एसडीओ ने दंडाधिकारी और पुलिस पदाधिकारियों को प्रतिनियुक्त किया है।इसमें तीन टीम बनाए गए हैं।जिसमे समपार संख्या 34पर  दंडाधिकारी सुनील कुमार,अनुमंडल कल्याण  पदाधिकारी एवं हरैया ओपी प्रभारी पंकज कुमार, रक्सौल स्टेशन पर दंडाधिकारी देवेंद्र सिंह,प्रखंड कृषि पदाधिकारी और सब इंस्पेक्टर उमाशंकर पाठक ,एवं बाटा चौक पर अरविंद कुमार चौहान,प्रखंड सहकारिता पदाधिकारी और असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर बनारसी सिंह को प्रति नियुक्त किया गया है।

बता दे कि रक्सौल पश्चिम चंपारण संसदीय क्षेत्र में है, जहां से पूर्व में रक्सौल से पाटली पुत्र के लिए इंटर सिटी ट्रेन चलती थी।विगत दिनों रक्सौल में  क्षेत्रीय सांसद डॉक्टर संजय जायसवाल ने रक्सौल सीतामढ़ी होते पाटलिपुत्र जाने वाले डेमू ट्रेन को ही इंटरसिटी बताते हुए कहा था कि पाटलिपुत्र के लिए ट्रेन तो चल ही रही है।
उधर, रक्सौल का जिला मुख्यालय मोतिहारी है। जहां पूर्व केंद्रीय  कृषि मंत्री राधा मोहन सिंह सांसद और रेलवे बोर्ड के स्टेंडिंग कमिटी के मेंबर हैं।जिन्होने मोतिहारी पाटलिपुत्र ट्रेन शुरू कराई।पहले यह ट्रेन रैक रक्सौल वाशिंग पीट पर धुलाई के लिए रक्सौल आती थी।विरोध शुरू होने के बाद नरकटिया गंज भेज दिया गया।जबकि, रक्सौल से ट्रेन बंद होने के बावजूद नरकटिया गंज से इंटरसिटी ट्रेन परिचालित हो रही है।मोतिहारी से भी अलग इंटरसिटी ट्रेन परिचालित है।

इससे क्षेत्र में केंद्र के भाजपा सरकार से जुड़े क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों के प्रति भारी नाराजगी है,जो कभी भी जन आक्रोश के रूप में फूट सकता है।।लोगों का कहना है कि रक्सौल के साथ हक मारी हुई है।यदि ट्रेन रिस्टोर नही हुई तो व्यापक आंदोलन होगा।

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